किसी धर्म, शास् त्र और अनुशासन के मानने वालों ने ही इनकी अनुवर्तिता की है।
2.
(ii) ‘ वद् ' धातु में ‘ घञ् ' प्रत्यय लागाने से ‘ वाद ' शब्द बनता है, और फिर उसमें ‘ पीछे ', ‘ बाद में ', ‘ अनुवर्तिता ' आदि अर्थों में प्रयुक् त ‘ अनु ' उपसर्ग जुड़ने से ‘ अनुवाद ' शब्द बनता है।